विभा रानी: जिन्होंने रोग को ही राग बना लिया
वो हिंदी और मैथिली साहित्य की दुनिया का एक जाना माना नाम हैं। बीस से अधिक पुस्तकें लिख चुकी विभा रानी थिएटर की दुनिया की बेहद महत्वपूर्ण हस्ती हैं।वे पंद्रह से अधिक नाटक, दो फ़िल्में ,एक टीवी सीरियल और बीस से अधिक किताबें लिख चुकी हैं। मैथिलि फिल्म मिथला मखान को राष्ट्रीय पुरुस्कार मिल चूका है। इसके गीत इन्होंने ही लिखे हैं। वो एक लोक कलाकार तो हैं ही टीवी और फिल्मों के परदे को भी अपनी आवाज़ और अभिनय से समृद्ध कर चुकी हैं। अपनी खनकती हुई आवाज़ और अनूठी शैली के ज़रिये शादी ब्याह में गाए जाने वाले गाली गीतों की परंपरा को वो आज भी जीवित रखे हुए हैं।वो कविता भी लिखती हैं कहानी और नाटक भी। इतना ही नहीं वो अनुवाद में भी सिद्धहस्त हैं। अपने निवास पर वे अवितोको रूम थिएटर के रूप में रंगमंच को लोकप्रिय बनाने का काम कर रही हैं। अवितोको एक ऐसी संस्था जो साहित्य नाटक संस्कृति शिक्षा आदि विभिन्न में काम करती है।इन्होंने जेल में बंद कैदियों के साथ भी साहित्य और नाटक के ज़रिये बहुत काम किया है। हम ब...
वाह खिड़की के नजारे!!!
ReplyDelete👌👌
thanks vasu ji
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